10 High Paying Tech Skills That is Hugh Demand in 2030 in hindi
AI लोगों की JOBS ले रहा है, यह एक सच है। AI लोगों को लखपति बना रहा है, यह भी तो एक सच है। और इन दोनों सच के बीच एक ही फर्क है: किसके पास कौन सी और कितनी अच्छी SKILLS है, और कौन उन्हें शोकेस और इस्तेमाल कर पा रहा है।
अच्छी JOBS पाने के लिए, अगर आप आउटडेटेड SKILLS सीख रहे हो, तो 2026 तक आपका करियर रिस्क में हो सकता है। फरवरी 2025 में Mercer ने India’s Graduate Skill Index 2025 रिपोर्ट पब्लिश की है। इसमें बताया है कि इंडिया में सिर्फ 42.6% ग्रेजुएट्स ही JOBS के लिए एंप्लॉयबल है। आधे से भी कम लोग तैयार हैं जॉब पाने के लिए। अच्छी-बुरी का चॉइस तो मिल ही नहीं रहा।
अब वो जमाना नहीं रहा कि कोई शर्मा जी का बेटा 90% मार्क्स ले आता है, बेस्ट कॉलेज से डिग्री करता है और बढ़िया सी नौकरी ले जाता है। 2026 तक सिर्फ मार्क्स या डिग्री नहीं, बल्कि रियल टेक SKILLS मैटर करेंगी। इसलिए, आज हम बात करने वाले हैं उन 10 SKILLS की, जो आपको फ्यूचर-प्रूफ करियर दे सकती हैं। यह वो SKILLS हैं, जो 2026 में भी बहुत डिमांड में रहने वाली है।
AI, Blockchain, Cyber Security — यह सिर्फ Buzzwords नहीं, बल्कि आपके करियर का सक्सेस फार्मूला है। इतने नए-नए रोल्स और JOBS आ रहे हैं, और कंपनीज टॉप टेक SKILLS में बहुत इन्वेस्ट कर रही हैं। अगर आप ग्रेजुएशन के बाद परफेक्ट जॉब ढूंढने का प्लान बना रहे हो, तो एक और प्लान बना लो — सही SKILLS सीखने का। चलो अब देखते हैं टॉप 10 SKILLS, जो बड़ी-बड़ी टेक कंपनीज और इस फास्ट-ग्रोइंग टेक इंडस्ट्री में हाई डिमांड पर है।
1. Generative AI Development
आजकल आपने देखा होगा Instagram पर Studio Ghibli स्टाइल AI फोटोस वायरल हो रही हैं। हर कोई ट्राई कर रहा है। यह भी एक जनरेटिव AI टूल का कमाल है।
Generative AI वो टेक्नोलॉजी है, जो इमेजेस, टेक्स्ट, म्यूजिक, वीडियोस, इवन कोड तक जनरेट कर सकती है। ChatGPT, MidJourney, Gemini जैसे टूल्स इसी AI टेक्नोलॉजी का यूज करते हैं।
आपको याद है X का AI टूल 'Grok', जो एकदम देसी स्टाइल में ट्वीट्स का रिप्लाई कर रहा था? सो, उसको इस तरह के डेटा से ट्रेन किया गया है कि वो जरा हटके टेक्स्ट जनरेट करें।
Gartner के मुताबिक, 2026 तक 90% ऑनलाइन कंटेंट Generative AI से बनेगा, और 60% वेबसाइट्स और एप्स AI-बेस्ड डिज़ाइन यूज करेंगी। इसलिए, Generative AI डेवलपमेंट अब इंडस्ट्री की मोस्ट इन-डिमांड स्किल बन चुकी है।
2. Immersive Technology (AR/VR)
IPL में 360° VR बैच का एक्सपीरियंस या Lenskart पर ऑनलाइन फ्रेम्स ट्राई करना, इवन Nykaa पर लिपस्टिक शेड्स ऑनलाइन ट्राई कर पा रहे हैं लोग। अब यह ऑगमेंटेड या वर्चुअल रियलिटी वाले एक्सपीरियंस गेमिंग हेडसेट तक नहीं रह गए।
एक सॉफ्टवेयर कंपनी मैंने देखी, जिनका पूरा काम ही है ब्रांड्स और बिजनेसेस के लिए वर्चुअल टूर्स बनाना, जो वो अपनी वेबसाइट पर कस्टमर्स को दे पाए। BYJU’S पर AR-बेस्ड लर्निंग हो या Tata Motors की VR ट्रेनिंग, AR और VR जैसे इमर्सिव टेक्नोलॉजीस के ऐसे हजारों एप्लीकेशन्स हर एक सेक्टर में आ रहे हैं।
इंडिया में अभी AR/VR मार्केट 4000 करोड़ का है, और 2032 तक 38% की ग्रोथ अचीव करेगा। सो, ये एक बहुत एक्साइटिंग करियर पाथ हो सकता है।
3. Big Data Engineering
आज के टाइम पर Netflix का रेकमेंडेशन सिस्टम, UPI फ्रॉड डिटेक्शन, और इवन हमारी फेवरेट IPL टीम्स की स्ट्रेटजी, सब कुछ डाटा पर डिपेंड करते हैं। हर सेकंड, पूरी दुनिया से मैसिव डाटा जनरेट हो रहा है, लेकिन बिना Big Data इंजीनियर्स के, यह सिर्फ रॉ नंबर्स रहेंगे। उनका काम है डेटा को प्रोसेस करना, ऑर्गेनाइज करना, और यूज़फुल इनसाइट्स निकालना।
इस साल, इंडिया में Big Data एनालिटिक्स का मार्केट 18.9 बिलियन का हो जाएगा। आज कंपनीज फास्ट और डाटा-ड्रिवन डिसीजंस लेना चाहती हैं, सो सबसे ज्यादा डिमांड है डाटा एनालिस्ट की।
इस फील्ड की बढ़िया बात यह है कि आप किसी भी स्ट्रीम के ग्रेजुएट हो, आप यहां एंटर कर सकते हो। ग्रेजुएशन करते वक्त भी इस स्किल को सीख पाओगे। अभी कंपनीज उन प्रोफेशनल्स को ढूंढ रही है, जिनके पास Python, Excel, Power BI, Tableau, स्टैटिस्टिक्स, और स्टोरीटेलिंग जैसे टूल्स और SKILLS हो।
एजुकेशन से ज्यादा जरूरी यह SKILLS हैं?
अगर आपको डाटा एनालिस्ट बनने के लिए फुल ट्रेनिंग और जॉब-रेडी लेवल तक सीखना है, तो SkillsYard (हिंदी में) ने यह बहुत ही अफोर्डेबल फुल ट्रेनिंग कोर्स बनाया है। 90 डेज में A to Z एडवांस लेवल तक सीख सकते हो।
फोर रियल-टाइम इंडस्ट्री प्रोजेक्ट्स भी करोगे। पूरा कंटेंट, स्टडी मटेरियल, टेस्ट, डाउट सॉल्विंग फोरम, सब कुछ का एक्सेस मिल जाएगा। आप इसमें फ्री क्लास का प्रीव्यू ले सकते हो।
4. Sustainability and Green Technology
आज सिर्फ कंपनीज नहीं, पूरी दुनिया सस्टेनेबिलिटी को अडॉप्ट कर रही है। Eco-friendly, Sustainable, Gentle, Recycled, Repurposed — यह सब बज़वर्ड्स बन चुके हैं।
फैशन और प्रोडक्ट्स में भी सोलर पैनल्स, EVs, और इको-फ्रेंडली पैकेजिंग जैसे टेक्नोलॉजीज आम हो रही हैं। फ्यूचर ऑफ JOBS रिपोर्ट 2025 के मुताबिक, यह ग्रीन ट्रांजिशन नए JOBS क्रिएट कर रहा है।
आप इवन कुछ कोर्सेज या ट्रेनिंग कर सकते हो, जैसे:
- Renewable Energy
- Carbon Management
- Green Manufacturing
ILO के हिसाब से, 2030 तक ग्रीन इकॉनमी में 24 मिलियन नए JOBS आ सकते हैं। इंडिया में भी रिन्यूएबल एनर्जी, कार्बन मैनेजमेंट, और ग्रीन मैन्युफैक्चरिंग प्रोफेशनल्स की डिमांड तेजी से बढ़ रही है।
फ्यूचर-प्रूफ JOBS:
- सोलर एनर्जी कंसलटेंट
- एनवायरमेंटल डाटा एनालिस्ट
- ग्रीन बिल्डिंग इंजीनियर
- EV इंफ्रास्ट्रक्चर स्पेशलिस्ट
5. Cyber Security and Ethical Hacking
ये SKILLS तो काफी वक्त से इंडस्ट्री में हैं, बट जितना डिजिटल और टेक वर्ल्ड स्पीड पकड़ रहा है, साइबर सिक्योरिटी अटैक्स भी उतने ही यूनिक और तगड़े हो रहे हैं।
कंपनीज अपने डाटा और एसेट्स को साइबर क्राइम से सेफ रखने के लिए इस स्किल को बहुत वैल्यू कर रही हैं। और पे भी! 2026 तक साइबर सिक्योरिटी JOBS की डिमांड 3x तक बढ़ने का एस्टीमेट है।
गवर्नमेंट सर्विसेज जैसे आधार, UPI, और इवन टॉप टेक कंपनीज के सर्वर भी हैक होने का रिस्क नहीं ले सकते। इसलिए, हर सेक्टर में साइबर सिक्योरिटी एक्सपर्ट्स की डिमांड है।
2025 तक, साइबर क्राइम $10 ट्रिलियन का नुकसान करेगा। सो, अगर आप AI, मशीन लर्निंग, क्लाउड रिलेटेड साइबर सिक्योरिटी SKILLS पर काम करते हो, आपके पास बहुत स्कोप है।
6. Cloud Native Application Development
अगर आप YouTube पर वीडियो देख रहे हो या Google Drive में फाइल सेव कर रहे हो, तो आप बिना जाने क्लाउड टेक्नोलॉजी यूज कर रहे हो।
क्लाउड-नेटिव डेवलपमेंट का मतलब है ऐसी एप्स बनाना, जो सीधा क्लाउड पर काम करें, बिना हैवी सर्वर की जरूरत के। इससे एप्स ज्यादा फास्ट और रिलायबल होती हैं, और कंपनीज इन्हें आराम से स्केल कर पाती हैं।
आज कंपनीज चाहते हैं कि उनका ऐप ज्यादा यूजर्स हैंडल कर सके, बिना स्लो हुए। 2026 तक, 95% नए एप्स क्लाउड-बेस्ड होंगे। इस वजह से, कंपनीज ऐसे डेवलपर्स ढूंढ रही हैं, जो क्लाउड प्लेटफॉर्म्स पर काम कर सकें। डिमांड तेजी से बढ़ रही है, और सैलरीज भी!
7. Blockchain Development and Smart Contracts
आज सिर्फ बिटकॉइन या क्रिप्टो नहीं, बल्कि बैंक्स, कंपनीज, और इवन गवर्नमेंट भी ब्लॉकचेन यूज कर रही हैं। ब्लॉकचेन एक डिजिटल रजिस्टर जैसा होता है, जिसमें हर ट्रांजैक्शन सिक्योर और हैक-प्रूफ होता है। स्मार्ट कॉन्ट्रैक्ट्स इसको और पावरफुल बनाते हैं, क्योंकि यह ऑटोमेटेड एग्रीमेंट होते हैं, कोई मिडलमैन के बिना काम कर लेते हैं।
इंडिया में भी, बैंक्स फ्रॉड रोकने और फास्ट पेमेंट्स के लिए ब्लॉकचेन यूज कर रहे हैं। Reliance और SBI जैसे बड़े कंपनीज भी इस टेक पर काम कर रही हैं।
2026 तक, वर्ल्ड की ब्लॉकचेन इंडस्ट्री $94 बिलियन से ज्यादा बढ़ने वाली है। इसमें एशिया अब दुनिया भर के क्रिप्टो डेवलपर्स का सबसे बड़ा हब बन गया है, जिसमें इंडिया का योगदान 12% है। सो, इंडिया में स्कोप बहुत तेजी से बढ़ रहा है।
8. Edge Computing
शायद पहली बार सुना होगा आपने, पर हम सब यह अपने आसपास देखते हैं, बट पता नहीं चलता कि यह एज कंप्यूटिंग से हो रहा है।
आप Zomato या Swiggy से ऑर्डर करते हो, जब आपका डिलीवरी ईटीए या राइडर का लाइव लोकेशन दिखाता है, यह एज कंप्यूटिंग से होता है। Google Maps का रियल-टाइम ट्रैफिक अपडेट भी इसी टेक्नोलॉजी से होता है।
सो, एज कंप्यूटिंग में डेटा को तुरंत, बिना किसी डिले के, प्रोसेस किया जाता है। किसी सेंट्रल क्लाउड सर्वर पर जाकर नहीं, बल्कि जहां से डाटा जनरेट हुआ, उसी के पास (या "एज" पर) प्रोसेस करते हैं। स्पीड, सिक्योरिटी — सब कुछ बेटर होता है।
2026 तक, 75% से ज्यादा डाटा प्रोसेसिंग एज कंप्यूटिंग से ही की जाएगी। जब 5G, AI, और IoT तेजी से बढ़ रहे हैं, एज कंप्यूटिंग का मार्केट इंडिया में 35,000 करोड़ से ज्यादा होने का एस्टीमेट है 2028 तक। इसमें सबसे ज्यादा डिमांड ऐसे इंजीनियर्स की है, जो AI-पावर्ड डिवाइसेस बना सकें।
9. Quantum Algorithms Development
हम सब ऑनलाइन पेमेंट्स करते हैं, WhatsApp पर वो एंड-टू-एंड इंक्रिप्टेड वाले मैसेजेस भेजते हैं। अब सोचो, अगर फ्यूचर में यह सिस्टम्स हैक-प्रूफ बन सके?
क्वांटम एल्गोरिदम्स इसी तरह के सुपर-सिक्योर सॉल्यूशंस और अल्ट्राफास्ट कंप्यूटिंग के लिए काम आते हैं। 2025 में, क्वांटम कंप्यूटिंग का सबसे ज्यादा यूज़ हो रहा है:
- फाइनेंस
- साइबर सिक्योरिटी
- हेल्थकेयर रिसर्च
इंडिया में, IIT मद्रास, Reliance, और TCS जैसे बड़े ऑर्गेनाइजेशन्स क्वांटम रिसर्च पर काम कर रहे हैं। ग्लोबल MNCs क्वांटम डेवलपर्स हायर कर रही हैं, जो क्रिप्टोग्राफी और AI के नए सॉल्यूशंस बना सकें।
अभी क्वांटम इंजीनियर्स की डिमांड तो बहुत हाई है, पर स्किल्ड लोग कम हैं। इसलिए, जो SKILLS डेवलप कर रहे हैं, उन्हें एकदम अर्ली करियर में भी टॉप अपॉर्चुनिटीज मिल रही हैं।
10. डेवसेकॉप्स (DevSecOps)
अभी सुनने में ही आया था, पर अब यह DevSecOps क्या भला है? सिंपल शब्दों में, यह DevOps + सिक्योरिटी का कॉम्बो है।
आज सॉफ्टवेयर सिर्फ फास्ट डेवलप करना काफी नहीं है, सिक्योर भी होना चाहिए। सो, DevSecOps प्रोफेशनल्स डेवलपमेंट के हर स्टेप पर सिक्योरिटी लाते हैं, प्रोसेस को स्लो किए बिना।
साइबर थ्रेट्स हर साल 15-20% बढ़ रहे हैं, और सिर्फ 2023 में ही इंडिया में 67 लाख+ साइबर अटैक्स हुए। सिक्योरिटी में एक छोटा सा गड़बड़ भी करोड़ों का नुकसान कर देती है।
कंपनीज का तो सिक्योरिटी भी चाहिए, और स्पीड भी स्लो ना हो। इसलिए, DevSecOps स्किल की डिमांड इतनी शानदार है।
ई-कॉमर्स, फाइनेंस, हेल्थकेयर, और कई टेक कंपनीज तेजी से DevSecOps को यूज कर रही हैं। 2026 तक, 70% कंपनीज इसको अडॉप्ट कर चुकी होंगी।
और इसलिए ही, DevOps के साथ क्लाउड सिक्योरिटी, एथिकल हैकिंग, और ऑटोमेशन टूल्स में एक्सपर्टीज वाले एम्प्लॉयीज की बहुत जरूरत है।
निष्कर्ष:
यह SKILLS अगर आप 2025 में सीखना स्टार्ट कर दोगे, तो आप 2026 के टॉप 10% लोगों में होंगे, जो JOBS के लिए अप्लाई कर रहे होंगे।
अगर अभी आप 42% अनइंप्लॉयबल ग्रेजुएट्स की गिनती से निकलकर टॉप 10% में जाना चाहते हो, तो आपको यह टॉप 10 SKILLS में से चूज़ करके और तैयार होना पड़ेगा।
जॉब मार्केट के लिए रेडी होने का यह परफेक्ट टाइम है, दोस्तों! बहुत नई और एक्साइटिंग JOBS जनरेट हो रही हैं।
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